Sunday, November 28, 2021

सर्वाइकल पेन की वजह बनता है खराब लाइफस्टाइल

 Note: Following is copied from whatsapp message.  If you believe you may follow it.  First verify, experiment and then accept it, only if found and experienced right from your view.


सर्वाइकल पेन की वजह बनता है खराब लाइफस्टाइल, जड़ से इलाज करेंगे 5 योगासन

------------------------------


सर्वाइकल की प्रॉब्लम  के तेजी से बढ़ने की वजह लोगों का बदलता लाइफस्टाइल है। घंटों एक ही जगह पर बैठकर काम करना और लगातार एक ही चीज पर नजर टिकाए रखने वाले लोगों को यह समस्या जल्द हो जाती है। गर्दन के इस दर्द को 'सर्वाइकल स्पांडिलाइटिस' कहा जाता है। यह दर्द गर्दन के पिछले हिस्से से शुरू होकर कंधों से होता हुआ बाजू तक जाता है और समस्या बढ़ जाए तो दर्द रीढ़ की हड्डी तक पहुंच जाता है। हालात उस समय बहुत ज्यादा बिगड़ जाते हैं जब दर्द पैरों के अंगूठे तक पहुंच जाता है।  



इन 5 लोगों को जल्दी होती हैं सर्वाइकल दर्द


1. गलत तरीके से उठना-बैठना

जो लोग एक ही पॉजिशन में बैठकर घंटों काम करते हैं या सिर झुकाए रखते हैं उन्हें यह प्रॉब्लम जल्द हो जाती है। गर्दन झुकाकर काम करने से गर्दन के पिछले हिस्से में ऐंठन शुरू हो जाती है। लगातार काम करने की बजाए बीच बीच में उठते रहे और गर्दन को घुमाते रहे।




2. बिगड़ता लाइफस्टाइल

खान-पान का सही ध्यान ना देने, मोटापे और फिजिकल एक्टिविटी न करने वाले लोग भी इसके घेरे में आ जाते हैं। 


3. ऊंचा तकिया लेना


सोते समय ऊंचा तकिया लेकर सोना भी सर्वाइकल का कारण बनता है। इससे गर्दन की मांसपेशियों में खिंचाव आता है जिससे असहनीय दर्द रहने लगता है। 


4. ऑस्टियोआर्थराइटिस 

यह एक तरीके का जोड़ों का दर्द है, इसमें हड्डियों को स्पोर्ट करने वाले ऊतक टूटना शुरू हो जाते हैं जो सर्वाइकल दर्द का कारण है। 


5. रीढ़ की हड्डी में चोट

रीढ़ की हड्डी में चोट लगने से भी सर्वाइकल दर्द उठता है। 


सर्वाइकल के शुरूआती लक्षण


- गर्दन में जकड़न महसूस होना सर्वाइकल के शुरुआती लक्षण में से एक है। थोड़ी-सी गर्दन झुकाने में भी परेशानी महसूस होती है। इससे आंखों में दर्द भी होने लगता है। 


- यह दर्द बाजू में भी होता है। इसे आम समझ कर नजअंदाज करना बाद में परेशानी का कारण बन सकता है। 


- सिर में लगातार भारीपन महसूस होना, गर्दन के पिछले हिस्से में दर्द शुरू होकर सिर में जाना ।


ये 5 योगासन जो देंगे दर्द से छुटकारा 


योगासन हर बीमारी का समाधान निकालने में सक्षम है। गर्दन के इस जिद्दी दर्द से राहत पाने के लिए आप इन 5 आसानों का सहारा ले सकते हैं।


1. सूर्य नमस्कार


रोजाना सूर्य नमस्कार करें, इसे करते समय शरीर कई मुद्राओं में मूवमेंट करता है जिससे शरीर को फ्लेक्सिबिलिटी मिलती है। कमर, कंधों,गर्दन और रीढ़ को स्वस्थ रखने के लिए यह बहुत लाभदायक है। 



2. भुजंगासन


यह आसन रीढ़ की हड्डी को लचीला बनाने में बहुत मददगार है। इससे कंधों की जकड़न, गर्दन दर्द और सर्वाइकल की बीमारी से निजात पाई जा सकती है।



3. मकरासन


सर्वाइकल दर्द के लिए यह बेस्ट ट्रीटमेंट है। इससे रीढ़ की हड्डी का कुदरती आकार बना रहता है। यह आसन रीढ़ की नसों को आराम पहुंचा कर गर्दन और कंधों का दर्द दूर करता है। 


4. मार्जरासन


इस आसन से रीढ़ की हड्डी का लचीलापन बना रहता है। इसके अलावा कमर दर्द से आराम पहुंचाने में भी यह बहुत लाभकारी है। 


5. अर्ध नौकासन


अर्ध नौकासन कंधों के दर्द, कमर औ गर्दन के दर्द से बहुत आराम दिलाता है। इससे कब्ज, पाचन क्रिया जैसी और भी कई परेशानियां दूर होती है। 


सर्वाइकल से राहत पाने के उपाय 


- गर्दन की सिंकाई


दर्द से राहत पाने का यह तरीका सबसे ज्यादा कारगर है। एक लीटर पानी में आधा चम्मच नमक डालकर उबाल लें। बोतल में यह पानी डालकर इससे सिंकाई करें। ध्यान रखें कि पानी बहुत ज्यादा गर्म न हो। 


- लहसुन


खाली पेट पानी के साथ एक कली लहसुन का सेवन करें। इसके अलावा खाने में लहसुन का इस्तेमाल करें। इसके एंटीबैक्टीरियल गुण दर्द को कम करने में मदद करते हैं। लहसुन के तेल से मसाज करने से भी फायदा मिलता है। 


- सेब का सिरका


सर्वाइकल के कारण आने वाली सूजन को कम करने में सेब का सिरका बहुत फायदेमंद है। कपड़े पर थोड़ा सा सेब का सिरका लगाकर कुछ देर सूजन और दर्द वाले हिस्से पर रखें। दिन में दो बार इस प्रक्रिया को दोहराने से आराम मिलेगा। नहाने के पानी में थोड़ा-सा सिरका मिलाएं, इससे भी फायदा मिलेगा। 


- एक्सरसाइज

इस परेशानी से छुटकारा पाने के लिए एक्सरसाइज जरूर करें। सुबह 5 मिनट और रात को 10 मिनट एक्सरसाइज जरूर करें।

////////////////////////////////////

*अलसी के बीजों से बना काढ़ा पीने से आपको मिलेगी इन बीमारियों से निजात*
________________________

अलसी लाभकारी है. इसके बीजों से बना काढ़ा नियमित पीने से कई बीमारियों के उपचार में फायदेमंद है. दो चम्मच अलसी के बीजों को दो कप पानी में मिक्स करें व आधा रह जाने तक उबालें. तैयार काढ़ा छान लें व थोड़ा ठंडा होने पर इसे पीएं.

*हार्ट ब्लॉकेज को करे दूर:*
 नियमित रूप से तीन महीने तक अलसी का काढ़ा पीने से दिल की धमनियों में रुकावट दूर होती है. अलसी में उपस्थित ओमेगा-3 शरीर में बुरे कोलेस्ट्रॉल के स्तर को कम कर दिल संबंधी रोगों से बचाव करने में मददगार है. यह शरीर से विषैले पदार्थों को बाहर निकालकर शुद्धिकरण करता है.

*नियंत्रित ब्लड शुगर :*
 मधुमेह में अलसी का काढ़ा लाभदायक है. नियमित रूप से प्रातः काल खाली पेट यह काढ़ा पीने से ब्लड शुगर का स्तर नियंत्रित रहता है.

*थायरॉइड में असरदार :*
 प्रातः काल खाली पेट एक कप काढ़ा हाइपो और हाइपरथायरॉइड दोनों में फायदा देता है.

*जोड़ों के दर्द में आराम :* साइटिका, नसों व धमनियों का दबना, जोड़दर्द में काढ़े को नियमित पीएं.

*गांठ करे दूर :*
 सुबह-शाम दो बार काढ़ा पीने से शरीर में होने वाली किसी भी प्रकार की गांठ पिघल जाती है.

*वजन घटाए :*
 काढ़ा शरीर में जमे अतिरिक्त वसा को निकालकर वजन कम करती है. अलसी में उपस्थित फाइबर भूख कम करता है.

*पेट की समस्याएं :*
नियमित यह काढ़ा पीने से कब्ज, पेटदर्द, अफारा से राहत मिलती है.

*घने और लंबे बाल :*
 आधा चम्मच अलसी के बीज रोज प्रातः काल गुनगुने पानी के साथ लेने से बालों के झडऩे की समस्या दूर होती है. 3-4 माह तक काढ़ा पीने से बाल सफेद नहीं होते. ऑयल की मालिश से भी बाल मजबूत होते हैं.

/////////////////////////////////

*सर्वाइकल के दर्द से छुटकारा पाने के लिए अपनाएं ये नुस्खें*
 

आज के समय की बदलती दिनचर्या और असंतुलित खानपान के कारण सर्वाइकल पेन की बिमारी हर उम्र के लोगो को हो रही हैं, इसी तरह से गर्दन का दर्द एक ऐसी बीमारी है जो आजकल बुजुर्गों के साथ-साथ छोटे बच्चे को भी प्रभावित कर रही हैं। गर्दन से शुरू हुआ ये दर्द इग्नोर करते रहने से यह धीरे-धीरे बढ़ता जाता है। जो बाद में गर्दन से लेकर कमर और पैरों तक पहुंच जाता है।

*सर्वाइकल के दर्द को दूर करने वाले घरेलू उपचार:*

# सेंधा नमक: अगर आप गर्दन के दर्द से ज्यादा पीड़ित हैं तो यह उपाय आपके लिये ज्यादा फायदेमंद साबित होगा।

# हल्दी: हल्दी में कई औषधीय गुण पाये जाते है जो शरीर के हर दर्द के लिये फायदेमंद होते है। इसे एक प्राकृतिक पेन किलर के नाम से भी जाना जाता है गर्म दूध के साथ हल्दी का सेवन करने से सूजन कम होती है।

# लौग का तेल: लौग का तेल शरीर के दर्द के लिये काफी फायदेमंद होता है। यह काफी अच्छा औषधिय उपचार है इसमें कैल्शियम, मैग्नीशियम, कॉपर, जिंक, फॉस्फोरस, विटामिन D और विटामिन K के साथ एंटीऑक्सीडेंट, एंटी फंगल, एंटीमाइक्रोबाइल, एंटीवायरल जैसे तत्वों की भरपूर मात्रा पाई जाती है।

# लहसुन: लहसुन में छुपे औषधीय गुणों के कारण यह शरीर में होने वाले हर रोगों को दूर करने वाला प्राकृतिक उपचार माना गया है। सर्वाइकल पेन में लहसुन के उपयोग से काफी राहत मिलती है।

# गाय का घी: आयुर्वेद में, गाय के घी में पाये जाने पोषक तत्वों के कारण इसे काफी अच्छा उपचार करने वाला माना गया है। माइग्रेन की समस्या हो या सर्वाइकल पेन की यह दर्द देने वाले जिम्मेदार वात तत्‍व को शांत करने के लिए जाना जाता है।

No comments:

Post a Comment